♥♥♥♥♥♥♥♥♥एहसान ..♥♥♥♥♥♥♥♥♥♥
दौलत से कभी प्यार को, पाया नहीं जाता!
एहसान मोहब्बत में, जताया नहीं जाता!
पढ़ लेते हैं वो मेरी, निगाहों में दर्द को,
चाहकर भी यहाँ दर्द, छुपाया नहीं जाता!
चुन चुन के मैंने लफ्ज, सजाए हैं गीत में,
चोरी का गीत मुझसे तो, गाया नहीं जाता!
न याद रखें वो, मेरी तस्वीर को लेकिन,
पर रूह के रिश्तों को, भुलाया नहीं जाता!
हर कोई नहीं "देव" है, हमदर्द यहाँ पर,
दुनिया को अपना दर्द, सुनाया नहीं जाता!"
..........चेतन रामकिशन "देव"..........
दिनांक-१२.०२.२०१३