Sunday, 29 December 2013

♥♥प्यार की बूंद...♥♥

♥♥♥♥♥♥♥प्यार की बूंद...♥♥♥♥♥♥♥♥♥
अपने आंसू मुझे दे दो, यहाँ पीने के लिए!
बूंद एक प्यार की दे दो, मुझे जीने के लिए!

उम्र भर झेली बहुत, मैंने ग़मों की लहरें,
जरा बन जाओ किनारा के, सफ़ीने के लिए!

जिंदगी बिन तेरे ये मेरी है पतझड़ जैसी,
तुम्ही हो बन सजावट के, करीने के लिए!

तेरे छूने से मेरे, ज़ख्म ये भर जायेंगे,
नहीं फिर होगी जरुरत, इन्हें सीने के लिए!

धूप की आंच में भी, सोख ले जो लहराकर,
मैं वो बन जाऊं हवा, तेरे पसीने के लिए!

बिना तेरे यहाँ पल भर भी न गुजारा हो,
दूर न जाना कभी, साल, महीने के लिए!

"देव" हर ओर मुझे प्यार नज़र आये बस,
ऐसा माहौल बना दो, जरा जीने के लिए!"

..........चेतन रामकिशन "देव"….........
दिनांक-२९.१२.२०१३