♥♥♥लफ्जों की आवाज़♥♥♥
लफ्जों से कुछ बयां करूँगा!
अपने हक को अदा करूँगा!
दूर भले तुम जाओ लेकिन,
मैं मिलने की दुआ करूँगा!
मैं अपने दिल में देखूंगा,
और तेरा दीदार करूँगा!
साँझ, सवेरे मेरे हमदम,
तुझे रूह से प्यार करूँगा!
तेरी याद को, मेरे हमदम,
कभी न दिल से जुदा करूँगा!
दूर भले तुम जाओ लेकिन,
मैं मिलने की दुआ करूँगा!"
....चेतन रामकिशन "देव"....
दिनांक--१४.०१.२०१३
No comments:
Post a Comment