Saturday, 14 July 2012

♥♥तेरी यादों से..♥♥



♥♥♥♥♥♥♥♥तेरी यादों से..♥♥♥♥♥♥♥♥♥♥
तेरी यादों से भला, दिल को अलग कैसे करूँ,
मेरे सीने में भी दिल है, कोई पाषाण नहीं!

तुम न आये तो मैंने देख ली तस्वीर तेरी,
बिन तुझे देखे गुजरती है, सुबह, शाम नहीं!

अपने ही अश्क पिए, प्यार की हिफाज़त में,
कभी भूले से भी, तुमको किया बदनाम नहीं!

प्यार न बिकता है, न इसको खरीदा जाये,
प्यार बाज़ार में बिकता हुआ, सामान नहीं!

दूर रहके भी "देव" चाहा, तुम्हें पूजा है,
तू मेरा अपना है, कोई अजनबी इन्सान नहीं!"

.........चेतन रामकिशन "देव"..................

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